पेरिस ओलंपिक्स 2024: स्वप्निल कुशाले ने 50 मीटर राइफल 3 पोजिशन्स फाइनल में बनाई जगह
पेरिस ओलंपिक्स 2024 में स्वप्निल कुशाले की ऐतिहासिक उपलब्धि
भारतीय निशानेबाज स्वप्निल कुशाले ने पेरिस ओलंपिक्स 2024 में एक नयी मिसाल कायम करते हुए 50 मीटर राइफल 3 पोजिशन्स इवेंट के फाइनल में अपनी जगह बना ली है। यह उनके लिए और भारतीय शूटिंग समुदाय के लिए एक बड़ी उपलब्धि है। स्वप्निल ने कठिन प्रतिस्पर्धा के बाद क्वालिफिकेशन राउंड में सातवां स्थान प्राप्त कर फाइनल में जगह बनाई है।
स्वप्निल कुशाले की उत्कृष्ट प्रदर्शन और स्कोर
क्वालिफिकेशन राउंड के दौरान, उन्होंने कुल 590 अंक हासिल किए, जिसमें 38 अंदरूनी 10 पॉइंट्स (Xs) शामिल थे। उनके स्कोर से स्पष्ठ है कि उन्होंने तीनों पोजिशन्स - घुटने टेक कर (kneeling) में 198 अंक, लेट कर (prone) में 197 अंक और खड़े होकर (standing) में 195 अंक अर्जित किए। उत्कृष्टता और नियमितता के साथ, स्वप्निल ने यह ध्यान में रखा कि सही प्रकार से निशाना लगाकर अंक बढ़ाते रहें।
स्वप्निल के इस अभूतपूर्व प्रदर्शन की महत्वता को इस बात से भी समझा जा सकता है कि भारतीय निशानेबाजी इतिहास में, इस इवेंट में किसी ने भी अब तक ओलंपिक मेडल नहीं जीता है। ऐसे में उनकी फाइनल में एंट्री भारतीय निशानेबाजी का एक नया अध्याय शुरू कर सकती है। इससे भारतीय निशानेबाजी के लिए नई संभावनाएं खुली हैं।
भारतीय टीम का प्रदर्शन
स्वप्निल के साथ, एक और भारतीय निशानेबाज ऐश्वर्य प्रताप सिंह तोमर ने भी इस इवेंट में भाग लिया। हालांकि, तोमर 11वें स्थान पर रहे और फाइनल में जगह नहीं बना सके। तोमर ने भी शानदार प्रदर्शन किया, लेकिन वे शीर्ष आठ निशानेबाजों में शामिल नहीं हो सके।
अन्य प्रतिस्पर्धियों का प्रदर्शन
क्वालिफिकेशन राउंड के दौरान, चीन के लियू युकन ने 594 अंक के साथ पहले स्थान पर कब्जा जमाया। उनके बाद नॉर्वे के जॉन-हर्मन हेग्ग ने 593 अंकों के साथ दूसरा स्थान प्राप्त किया। यूक्रेन के सेरही कुलीश ने 592 अंक अर्जित करके तीसरा स्थान हासिल किया। स्वप्निल का सातवां स्थान भी महत्वपूर्ण है क्योंकि इसने उन्हें अपनी फाइनल की तैयारी के लिए एक मजबूत मंच प्रदान किया है।
फाइनल की तैयारी
अब सभी की निगाहें फाइनल मुकाबले पर हैं, जो गुरुवार को होने वाला है। स्वप्निल के इस प्रदर्शन से उम्मीद जागी है कि वे फाइनल में भी बेहतर प्रदर्शन कर सकते हैं। यह न केवल उनके करियर के लिए एक महत्वपूर्ण मोड़ हो सकता है, बल्कि सम्पूर्ण भारतीय निशानेबाजी के लिए भी एक गर्व की बात हो सकती है।
फाइनल में स्वप्निल की रणनीति और तैयारी को देखते हुए, यह निश्चित है कि वह न केवल खुद को बल्कि देश को भी गर्वित महसूस कराने के लिए पूरी मेहनत और लगन से प्रदर्शन करेंगे।
भारत की राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय शूटिंग प्रतियोगिताओं की तैयारियों में इन प्रतिभाशाली खिलाड़ियों का योगदान महत्वपूर्ण रहा है और स्वप्निल कुशाले की इस उपलब्धि से आने वाली पीढ़ी के लिए भी प्रेरणा का स्रोत बनेंगे। पेरिस ओलंपिक्स 2024 में उनके संभावित मेडल की संभावना ने सभी को उत्साहित किया है और अब सबकी उम्मीदें उनके बेहतरीन प्रदर्शन पर टिकी हैं।
भारतीय निशानेबाजी का भविष्य
कुशाले का इस स्तर पर प्रदर्शन न केवल उनके व्यक्तिगत कौशल और तैयारियों का परिणाम है, बल्कि यह भी दिखाता है कि भारतीय निशानेबाजी में प्रतिभा की कमी नहीं है। कुशाले के कोच, परिवार और साथी निशानेबाजों ने उनके इस सफर में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।
फाइनल में उनकी भागीदारी के चलते, भारतीय निशानेबाजी महासंघ द्वारा किए जा रहे प्रयासों की भी सराहना होनी चाहिए। आगामी ओलंपिक्स में और अधिक निशानेबाजों को इस तरह की उपलब्धियां हासिल करने के लिए प्रेरणा मिलेगी।
अब समय है कि हम कुशाले को शुभकामनाएँ दें और उम्मीद करें कि वह फाइनल में भी भरपूर उत्साह और समर्पण के साथ प्रदर्शन करें। आने वाले गुरुवार का दिन भारतीयों के लिए बेहद खास हो सकता है, जब सभी की निगाहें स्वप्निल कुशाले पर होंगी।
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