भारत बनाम न्यूज़ीलैंड तीसरे टेस्ट में व्हाइटवॉश से बचने की कोशिश कर रहा है

भारत बनाम न्यूज़ीलैंड तीसरे टेस्ट में व्हाइटवॉश से बचने की कोशिश कर रहा है

वानखेड़े टेस्ट में भारत की कड़ी चुनौती

न्यूज़ीलैंड के खिलाफ तीसरे और अंतिम टेस्ट के पहले दिन भारत को वानखेड़े स्टेडियम में महत्वपूर्ण परीक्षा का सामना करना पड़ा। पहले दो मैचों में हार के बाद, भारतीय टीम 3-0 के व्हाइटवॉश से बचने की कोशिश कर रही है, जो घरेलू मैदान पर 12 वर्षों में उनकी पहली सीरीज हार होगी। इस टेस्ट सीरीज का महत्व इस बात से भी बढ़ जाता है कि यह भारत के वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप के सपनों के लिए भी जरूरी है।

पहले दिन का खेल न्यूज़ीलैंड के 235 रन पर आउट होने के साथ समाप्त हुआ, लेकिन इसके बाद भारतीय पारी का पतन हुआ और टीम ने 86 पर चार विकेट गंवा दिए। रोहित शर्मा और विराट कोहली जैसे प्रमुख बल्लेबाजों पर प्रदर्शन करने का दबाव है, जो टीम के आत्म-सम्मान को बहाल करने के लिए जरूरी है क्योंकि उनका अगला दौरा ऑस्ट्रेलिया में है।

न्यूज़ीलैंड का आत्मविश्वास और भारतीय स्पिन का इम्तेहान

न्यूज़ीलैंड ने पहले दो टेस्ट में शानदार प्रदर्शन किया है, और वे भारतीय उपमहाद्वीप में ऐतिहासिक व्हाइटवॉश की ओर अग्रसर हैं। कप्तान टॉम लेथम ने टीम को छोटी-छोटी महत्वपूर्ण बातों पर ध्यान देने की सलाह दी है ताकि वे सीरीज में बढ़त बनाए रख सकें। मिचेल सेंटनर का पिछले मैचों में शानदार प्रदर्शन रहा है, और दर्शकों की नज़र अब उनकी स्पिनरो पर है जिससे उन्हें सफलता मिल सकती है।

भारतीय कोच गौतम गंभीर ने माना कि सेंटनर की 13 विकेट की भूमिका विस्मयकारी थी, लेकिन उन्होंने यह भी कहा कि भारत की स्पिन के खिलाफ कौशल अभी भी मजबूत है। भारतीय टीम के लिए चुनौती यह होगी कि वे न्यूज़ीलैंड के स्पिनरों से कैसे मुकाबला करें और बल्लेबाजी में अपना जौहर दिखाएं।

स्पिनर महत्वपूर्ण भूमिका में

वानखेड़े की पिच के बारे में माना जा रहा है कि यह स्पिनरों की मददगार होगी, और यह न्यूज़ीलैंड के गेंदबाजों के पाक्ष में साबित हो सकती है। अजाज़ पटेल, जिन्होंने पिछली बार दोनो टीमों के मुठभेड़ में 10 विकेट चटकाए थे, वापसी कर सकते हैं। जवाब में भारत भी रविचंद्रन अश्विन, रविन्द्र जडेजा, और वाशिंगटन सुंदर के साथ तीन स्पिनरों के साथ उतरेगा।

भारत की तैयारी

भारत का फोकस इस बात पर होगा कि वे न्यूज़ीलैंड के खिलाफ मजबूत वापसी कैसे करें। भारतीय बल्लेबाजों पर प्रेशर होगा कि वे अपने प्रदर्शन को सुधारें और टीम को एक सुरक्षित स्थिती में ले जाएं। स्पिन के खिलाफ रणनीति बनाना और उसकी तैयारी में कोई कसर न छोड़ना टीम के लिए प्रमुख चुनौती बना रहेगा।

यह निर्धारित होगा कि भारत अपनी ताकत का प्रदर्शन कैसे करता है जबकि दूसरी ओर न्यूज़ीलैंड की टीम एक नए इतिहास के निर्माण के काफी करीब है। इस मैच के परिणाम का असर न केवल इस सीरीज पर बल्कि विश्व क्रिकेट पर भी महत्वपूर्ण होगा।

नव॰ 2, 2024 द्वारा Pari sebt

द्वारा लिखित Pari sebt

मैं एक समाचार विशेषज्ञ हूँ और मुझे भारत में दैनिक समाचार संबंधित विषयों पर लिखना पसंद है।

Ritu Patel

ये टीम तो घर पर भी हार रही है, ऑस्ट्रेलिया जाएगी तो क्या होगा? बस नाम तो बड़ा है, खेल नहीं आता।
कोहली और रोहित के नाम से देश जीत नहीं जाता।

Deepak Singh

मैच का पहला दिन देखा? न्यूजीलैंड का 235 रन बहुत कम था। लेकिन भारत की बल्लेबाजी बिल्कुल अनायास थी। 86 रन पर 4 विकेट? ये नहीं हो सकता।

Rajesh Sahu

ये सब बहुत आसान है! भारत के खिलाफ व्हाइटवॉश? कभी नहीं! अश्विन और जडेजा की गेंदों से न्यूजीलैंड के बल्लेबाज बेकाबू हो जाएंगे! जय हिंद!

Chandu p

दोस्तों, बस थोड़ा धैर्य रखें। ये टीम पिछले 5 साल में कई बड़ी चुनौतियां पार कर चुकी है। स्पिन पिच पर भारत की टीम कभी नहीं हारती।
बस एक बार फिर अश्विन और जडेजा के साथ विश्वास रखें। 🙏

Gopal Mishra

मैच के पहले दिन के आंकड़े देखें तो न्यूजीलैंड की बल्लेबाजी बहुत अच्छी थी, लेकिन उनके बाद भारत की बल्लेबाजी का अचानक गिरना चिंताजनक है।
रोहित और कोहली के अलावा कोई भी बल्लेबाज अपनी जिम्मेदारी नहीं निभा रहा।
स्पिनर्स के खिलाफ रणनीति बनाने की जरूरत है, और इसके लिए टीम को बैठक करनी होगी।
कोच गौतम गंभीर ने सही कहा कि भारत की स्पिन के खिलाफ कौशल अभी भी मजबूत है, लेकिन इसे बरकरार रखना होगा।
वानखेड़े की पिच बिल्कुल स्पिनरों के लिए बनी है, और अजाज़ पटेल की वापसी से न्यूजीलैंड को बहुत फायदा होगा।
भारत को अपने स्पिनर्स को अधिक गेंद देनी चाहिए, और उन्हें बल्लेबाजी के दौरान बार-बार बदलना चाहिए।
ये टीम अभी तक अपने आत्मविश्वास को खो चुकी है, और इसे वापस लाने के लिए बहुत कुछ करना होगा।
ये सिर्फ एक मैच नहीं, ये भारतीय क्रिकेट के इतिहास का एक मोड़ हो सकता है।
अगर ये मैच हार गए तो फिर ऑस्ट्रेलिया के दौरे के लिए तैयारी बिल्कुल बदल जाएगी।
हमें अभी भी उम्मीद है, लेकिन उम्मीद अकेली काफी नहीं है।
अगर टीम ने अपनी गलतियों को स्वीकार किया और उन्हें ठीक किया, तो अभी भी जीत का रास्ता है।

Swami Saishiva

ये टीम तो बस नाम के लिए है। अश्विन भी बूढ़ा हो गया, जडेजा भी नहीं चल रहा। इस टीम को तोड़ देना चाहिए।

Swati Puri

अश्विन की स्पिन और जडेजा की वार्म लेंथ ने बहुत बार इस तरह की पिचों पर टीम को बचाया है।
ये बात नहीं कि न्यूजीलैंड बेहतर है, बल्कि भारत के बल्लेबाज अभी अपने खेल को नहीं समझ पाए।
स्पिनर्स के खिलाफ बैटिंग के लिए ड्रिल्स की जरूरत है, और इसके लिए बैटिंग कोच को जल्दी से एक्शन लेना चाहिए।

megha u

ये सब फेक न्यूज है... न्यूजीलैंड को अमेरिका ने बर्खास्त कर दिया है, और वो भारत के खिलाफ लड़ रहे हैं क्योंकि वो हमारे टीम के खिलाफ गुप्त अस्त्र लगा रहे हैं। 🤫

pranya arora

क्या हम ये भूल गए कि क्रिकेट सिर्फ जीत-हार का खेल नहीं है?
क्या हम अपनी टीम के लिए बस इतना ही उम्मीद करते हैं कि वो जीते?
क्या न्यूजीलैंड के खिलाफ हारना भारत की पहचान को कम नहीं करता?
शायद ये एक मौका है हमें अपने खेल के बारे में दोबारा सोचने का।

Sree A

अश्विन के लिए ये पिच बिल्कुल बनी है। अगर वो इस बार भी विकेट लेता है, तो ये मैच बदल सकता है।

DEVANSH PRATAP SINGH

मैंने देखा कि जडेजा ने पिछले मैच में बल्लेबाजी में बहुत अच्छा खेला। अगर वो इस बार भी ऐसा ही करता है, तो भारत के लिए बहुत अच्छा होगा।

SUNIL PATEL

ये टीम कोच को बदलना चाहिए। गौतम गंभीर बहुत धीमे हैं। अगर ये मैच हार गया तो उन्हें निकाल देना चाहिए।

Avdhoot Penkar

अगर भारत ने हार दी तो क्या न्यूजीलैंड अब दुनिया की नंबर 1 टीम हो जाएगी? 😂

Akshay Patel

हमारे खिलाफ व्हाइटवॉश? कभी नहीं! भारत के खिलाफ ये न्यूजीलैंड का सपना है, लेकिन हम उसे तोड़ देंगे। जय हिंद!

Raveena Elizabeth Ravindran

कोहली तो अब बस नाम बना रहा है... उसका बल्ला बर्बाद हो गया है। इसे बाहर कर दो।

Krishnan Kannan

अगर अश्विन और जडेजा दोनों ने बार-बार विकेट लिए तो न्यूजीलैंड के बल्लेबाज घबरा जाएंगे।
लेकिन अगर बल्लेबाजी फिर से फेल हुई तो कोई भी गेंदबाज नहीं बचा सकता।
मैंने देखा है कि अश्विन ने इस तरह की पिचों पर बहुत अच्छा खेला है।
अगर टीम उन्हें अधिक गेंद देती है, तो ये मैच बदल सकता है।

Dev Toll

पिच तो बहुत अच्छी है। अश्विन के लिए बिल्कुल सही। अब बल्लेबाजों को अपना काम करना होगा।